संगोष्ठी-पत्र प्रश्न पत्र -103 कंप्यूटर एवं प्रोग्रामिंग-वी॰बी॰ एवं सी॰ निर्देशक जगदीप सिंह दाँगी एसोसिएट प्रोफेसर भाषा विद्यापीठ प्रस्तुतकर्ता अमित कुमार झा एम॰आई॰एल॰ई॰ भाषा विद्यापीठ महात्मा गांधी अंतरराष्ट्रीय हिन्दी विश्वविद्यालय ,वर्धा विषय:- कंप्यूटर की पीढ़ियाँ
कंप्यूटर कंप्यूटर एक इलेक्ट्रोनिक डिवाइस है,जिसका प्रयोग कैलक्युलेशन और डाटा हैंडिलिंग मे किया जाता है। आज कंप्यूटर मानव के जीवन का अभिन्न अंग बन गया है। आज हर क्षेत्र मे कंप्यूटर का प्रयोग हो रहा है। कंप्यूटर का विशेषताएँ :- 1.गति 2.शुद्धता 3.भंडारण क्षमता 4.थकावट 5.संसाधन
कंप्यूटर की पाँच पीढ़ीयां
कंप्यूटर का प्रथम पीढ़ी (1940-1956) प्रथम पीढ़ी के कंप्यूटर में सर्किट के लिए निर्वात पम्प का और मेमोरी के लिए चुम्बकीय ड्रम का उपयोग होता था। इसे रखने के लिए पूरे रूम की जरूरत होती थी। इसे मशीनी भाषा में कमांड देना होता था। इसका उपयोग बहुत महँगा होता था और इसके लिए काफी बिजली लगती थी और यह बहुत अधिक और जल्दी गर्म हो जाता था । UNIVAC ,EDVAC और ENIAC कंप्यूटर इस पीढ़ी के कंप्यूटर हैं ।
प्रथम पीढ़ी का कम्प्यूटर रूम के आकार का कम्प्यूटर
कंप्यूटर का दूसरी पीढ़ी (1956-1963) दूसरी पीढ़ी की कंप्यूटर मे निर्वात पम्प की जगह Transiter का उपयोग होने लगा। दूसरी पीढ़ी के कंप्यूटर को मशीनी भाषा की जगह सांकेतिक भाषा में कमांड दिया जाने लगा। उच्च-स्तरीय प्रोग्रामिंग की विकास इसी पीढ़ी से शुरू हुआ। जैसे COBOL और FORTRAN. यह पहला ऐसा कंप्यूटर था जो अपने निर्देशों को मेमोरी मे स्टोर करता था। दूसरी पीढ़ी के कंप्यूटर का उदाहरण PDP-8,IBM-1401,IBM-7090 है। दूसरी पीढ़ी के कंप्यूटर का प्रोसेसिंग का समय माइक्रो सेकंड था
दूसरी पीढ़ी का कम्प्यूटर कंप्यूटर
कंप्यूटर की तीसरी पीढ़ी (1964-1971) आई॰सी॰ का आविष्कार कंप्यूटर की तीसरी पीढ़ी की शुरूवात हैं। आई.सी. का विकास जे॰एस॰किल्बी॰ ने किया । इस पीढ़ी के कंप्यूटर मे Transiter की जगह आई.सी. का प्रयोग होने लगा जो कई सिलिकॉनचीप पर लगा हुआ होता है । punched cards और printouts की जगह प्रयोगकर्ता कीबोर्ड ओर मोनिटर के द्वारा तीसरी पीढ़ी की कंप्यूटर से interacted होते थे। इस पीढ़ी के कंप्यूटर Multitasking थे अर्थात इस कंप्यूटर एक ही समय मे कई प्रोग्राम रन कर सकते थे। उदाहरण :- NCR-395, और B-6500
तीसरी पीढ़ी का कम्प्यूटर
कंप्यूटर की चौथी पीढ़ी (1971- अब तक ) चौथी पीढ़ी की कंप्यूटर मे microprocessor का प्रयोग होता है इसमे हजारो आई॰सी॰ एक सिलिकॉन चिप पर लगे होते हैं। Intel 4004 चिप की आविष्कार 1971 मे हुआ जो इस पीढ़ी के कंप्यूटर मे उपयोग होता है। इसी पीढ़ी के कंप्यूटर मे GUIs का विकास हुआ और कंप्यूटर मे माउस का उपयोग होने लगा। चौथी पीढ़ी के कंप्यूटर का उदाहरण Apple-II और Cray-1 है ।
चौथी पीढ़ी का कंप्यूटर कंप्यूटर और प्रोसेसर
कंप्यूटर की पाँचवी पीढ़ी ( अभी और आगे) पाँचवी पीढ़ी की कंप्यूटर कृत्रिम बुद्धि पर आश्रित है। इस पर अभी बहुत से काम हुए है और बहुत काम होना बाकी है। जैसे:- voice recognition system Parallel processing और superconductors का उपयोग कृत्रिम बुद्धिमता मे मदद करता है। इस पीढ़ी मुख्य उदेश्य ऐसा कंप्यूटर बनाना है, जो आदमी की तरह सोचे और काम करें। रोबोट इस पीढ़ी के कंप्यूटर है ।
पाँचवीं पीढ़ी का कंप्यूटर
कंप्यूटर से संबंधित कुछ तथ्य कंप्यूटर साक्षरता दिवस 2 दिसम्बर को मनाया जाता है। भारत मे निर्मित प्रथम कंप्यूटर सिद्धार्थ है। इसका निर्माण इलेक्ट्रॉनिक कॉर्पोरेशन ने किया था। प्रथम घरेलू कंप्यूटर कमोडोर VIC/20 है। B.J.P. पहली पार्टी है,जिसने इंटरनेट पर अपना बेबसाइट बनाया। C-DAC पुणे ने 28 मार्च 1998 मे परम-1000 का निर्माण किया।जो भारत का पहला सुपर कंप्यूटर हैं ।
निष्कर्ष निष्कर्ष के रूप मे हम कह सकते है कि कंप्यूटर कि पीढ़ी का विकास जैसे-जैसे आगे बढ़ता गया उसकी प्रोसेसिंग का क्षमता भी बढ़ता गया। प्रत्येक पीढ़ी का कंप्यूटर अपने पहले वाले पीढ़ी के कंप्यूटर से आकार मे भी छोटा होते गया । प्रथम पीढ़ी की कंप्यूटर के लिए जहा हमे एक बड़े रूम की जरूरत होता थी वही आज-कल का कंप्यूटर हमारे हाथ मे समा जाता है। कंप्यूटर की पीढ़ी उसमे उपयोग होने वाले डिवाइस के आधार पर निर्धारित किया जाता है।